Apoorva Shukla

Add To collaction

लेखनी कविता - कुछ बातें यूँ ही

कुछ बातें यूँ ही 🍁🍁🍁

मुझे अब दूर जाना है 
मोहब्बत ना जताना हैं.. 
 और तुम्हें ऑनलाइन ना देख कर बेचैनी बढ़ती है हमारी 
पर अब किसी सवाल के बहाने तुम तक मैसेज ना पहुंचाना है
 मुझे अब दूर जाना है... 
कई बार त्योहारों की शुभकामनाएं देते हुए 
तुम्हारे कुशल पूछ लेती थी.. 
पर अब त्योहारों को आते देख भी ना मुस्कुराना है... 
मुझे अब दूर जाना है... 
और कितनी दफा इश्क के हाथों झुकेंगे हम
मोहब्बत की ईबादत में,अब रुकेंगे हम.. 
अब दर्द कितना भी हो
 दिल नहीं लगाना है.. 
 मुझे अब जाना  हैं... 
प्रेम मीरा का था 
 मीरा का रहेगा... 
यू कान्हा को बार-बार नहीं बुलाना है 
मुझे अब दूर जाना हैं... 
मोहब्बत के चिरागों को बुझाना  है  नहीं आसान 
परिंदों को जलाना है और खुद भी जलते जाना है... 
मुझे अब दूर जाना हैं
 और...अब आना मत तुम 
जमाने के वसूल को,समझाना मत तुम
 इश्क़ में खाक हो 
राख हो..... 
 हमारी मर्जी.... 
 तुम जाओ तुम्हें बहुत दूर जाना है

अपूर्वा शुक्ला✍✍✍🍁🍁🍁

# प्रतियोगिता स्वैच्छिक

   19
7 Comments

सुन्दर, उत्कृष्ट, सर्वोत्तम

Reply

Teena yadav

22-Nov-2022 07:33 PM

Superb 👌

Reply

Apoorva Shukla

23-Nov-2022 03:19 PM

Thankd

Reply

Haaya meer

22-Nov-2022 05:01 PM

Amazing

Reply

Apoorva Shukla

23-Nov-2022 03:20 PM

Thanks

Reply